भारत के उप राष्ट्रपति

भारत के उप-राष्ट्रपति | Vice President of India

भारत का दूसरा सर्वोच्च पद उप-राष्ट्रपति का होता है। उप-राष्ट्रपति का पद, अमेरिका के उप-राष्ट्रपति की तर्ज पर बनाया गया है।

उप-राष्ट्रपति का निर्वाचन –

उप-राष्ट्रपति का निर्वाचन संसद के दोनों सदनों के सदस्यों के निर्वाचक मण्डल द्वारा होता है।

यह निर्वाचक मण्डल, राष्ट्रपति के निर्वाचक से दो बातों में भिन्न हैं –

  1. इसमें संसद के निर्वाचित और मनोनीत दोनों सदस्य होते हैं (राष्ट्रपति के चुनाव में केवल निर्वाचित सदस्य होते हैं)।
  2. इसमें राज्य विधानसभाओं के सदस्य शामिल नहीं होते हैं (राष्ट्रपति के चुनाव में राज्य विधानसभाओं के निर्वाचित सदस्य शामिल होते हैं) ।

भारत के उप-राष्ट्रपति का चुनाव आनुपातिक प्रतिनिधित्व के आधार पर एकल संक्रमण मत द्वारा और गुप्त मतदान से होता ।

उप-राष्ट्रपति के चुनाव से संबंधित सभी शंकाएं व विवादों की जाँच और निर्णय उच्चतम नयायालय द्वारा किए जाते हैं, जिसका निर्णय अंतिम होगा।

उप-राष्ट्रपति पद की अर्हताएं –

  1. वह भारत का नागरिक हो।
  2. वह  वर्ष की आयु पूर्ण कर चुका हो।
  3. वह राज्यसभा सदस्य बनने की योग्यता रखता हो।
  4. वह केन्द्र सरकार अथवा राज्य सरकार अथवा किसी स्थानीय प्राधिकरण या अन्य किसी सार्वजनिक प्राधिकरण के अंतर्गत किसी लाभ के पद पर न हो।

इसके अतिरिक्त उप-राष्ट्रपति के चुनाव के नामांकन के लिए उम्मीदवार के कम-से-कम 20 प्रस्तावक तथा 20 अनुमोदक होने चाहिए।

प्रत्येक उम्मीदवार को भारतीय रिजर्व बैंक में 15000 रुपये जमानत राशि के रूप में जमा करना आवश्यक होता हैं।

शपथ या प्रतिज्ञान –

अपनी शपथ में उप-राष्ट्रपति शपथ लेगा –

  1. मैं भारत के संविधान के प्रति सच्ची श्रद्धा और निष्ठा रखूँगा।
  2. मैं अपने पद और कर्तव्यों का निर्वाह श्रद्धापूर्वक करूंगा।

उप-राष्ट्रपति को उनके पद की शपथ राष्ट्रपति अथवा उसके द्वारा नियुक्त किसी व्यक्ति द्वारा दिलवाई जाती है।

उप-राष्ट्रपति पद की शर्तें –

  1. वह संसद के किसी भी सदन अथवा राज्य विधायिका के किसी भी सदन का सदस्य न हो। यदि ऐसा कोई व्यक्ति उप-राष्ट्रपति निर्वाचित होता है तो यह माना जाएगा कि उप-राष्ट्रपति का पद ग्रहण करने के तिथि से उसने अपनी उस सदन की सीट को रिक्त कर दिया है।
  2. वह किसी लाभ के पद पर न हो।

पदावधि –

उप-राष्ट्रपति की पदावधि उसके पद ग्रहण करने से लेकर 5 वर्ष तक होता है।

हालांकि वह अपनी पदावधि में किसी भी समय अपना त्यागपत्र राष्ट्रपति को दे सकता है।

उसे अपने पद से पदावधि पूर्ण होने से पूर्व भी हटाया जा सकता ।

उसे राज्यसभा द्वारा बहुमत में पारित कर विशेष अधिकार द्वारा हटाया जा सकता है और इसे लोकसभा की सहमति आवश्यक है।

इसका अर्थ यह हुआ कि संकल्प राज्यसभा में प्रभावी बहुमत से पारित होना चाहिए जबकि लोकसभा में सामान्य बहुमत से।

भारत में प्रभावी बहुमत एक प्रकार का विशेष बहुमत है।

पुनः यह संकल्प केवल राज्यसभा में ही प्रस्तुत किया जा सकता है, लोकसभा में नहीं।

ऐसा प्रस्ताव (संकल्प) पेश करने से पहले 14 दिन का अग्रिम नोटिस देना होता है।

उप-राष्ट्रपति अपनी 5 वर्ष की पदावधि के उपरान्त भी पद पर बना रह सकता है, जब तक उसका उत्तराधिकारी पद ग्रहण न करे।

वह इस पद पर कितनी भी बार पुनः निर्वाचित हो सकता है।

उप-राष्टपति की पद रिक्तता –

पद निम्नलिखित कारणों से रिक्त हो सकता है –

  1. उसकी 5 वर्षीय पदावधि की समाप्ति होने पर।
  2. उसके द्वारा त्याग-पत्र देने पर।
  3. उसको बर्खास्त करने पर।
  4. उसकी मृत्यु पर।
  5. अन्यथा, उदाहरण के लिए, यदि वह पद ग्रहण करने के अयोग्य हो अथवा उसका निर्वाचन अवैध घोषित हो।

शक्तियाँ व कार्य –

  1. वह राज्यसभा के पदेन सभापति के रूप में कार्य करता है। इस संदर्भ में उसकी शक्तियां व कार्य लोकसभा अध्यक्ष की भांति ही होते हैं। इस संबंध में वह अमेरिका के उप-राष्ट्रपति के समान ही कार्य करता है।
  2. जब राष्ट्रपति का पद उसके त्याग-पत्र, निष्कासन, मृत्यु तथा अन्य कारणों से रिक्त होता है तो वह कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में भी कार्य करता है।
  3. वह कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में अधिकतम छह महीने तक कार्य कर सकता है। इस अवधि में नए राष्ट्रपति का चुनाव आवश्यक है।

कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में कार्य करने के दौरान उप-राष्ट्रपति राज्यसभा के सभापति के रूप में कार्य नहीं करता हैं।

जब वह कार्यवाहक राष्ट्रपति होता हैं तो राज्यसभा का उप-सभापति उसके कार्यों का निर्वाह करता है।

उप-राष्ट्रपति जब किसी अवधि में कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में कार्य करता है तो वह राज्यसभा के सभापति को मिलने वाला वेतन नहीं पाता है, बल्कि उसे राष्ट्रपति को प्राप्त होने वाले वेतन व भत्ते आदि मिलते हैं।

भारत के निर्वाचित उप-राष्ट्रपति (1952-2017) –

क्र.सं.निर्वाचन वर्षउप-राष्ट्रपति
1.1952डॉ. एस. राधाकृष्णन
2.1957डॉ. एस. राधाकृष्णन
3.1962डॉ. जाकिर हुसैन
4.1967वी.वी. गिरि
5.1969जी.एस. पाठक
6.1974बी.डी.जत्ती
7.1979एम. हिदायतुल्ला
8.1984आर. वेंकटरमण
9.1987डॉ. शंकर दयाल शर्मा
10.1992के.आर. नारायणन
11.1997कृष्णकांत
12.2002बी.एस. शेखावत
13.2007मो. हामिद अंसारी
14.2012मो. हामिद अंसारी
15.2017वेंकैया नायडु

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